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देवउठनी एकादशी तुलसी विवाह पर निकाली बारात

शर्मा परिवार नें धूमधाम से मनाया विवाह उत्सव
@कोटा- कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को भगवान श्रीहरि के जागने का पर्व देवोत्थानी एकादशी मनाया जाता है। इस तिथि को देवउठनी एकादशी और श्रीहरिप्रबोधिनी एकादशी भी कहते हैं। मान्यता है कि आषाढ़ शुक्ल पक्ष की एकादशी पर भगवान चार महीने योगनिद्रा में चले जाते हैं। देवोत्थानी एकादशी पर उनके जागने के साथ विवाह समेत सभी मांगलिक कार्य फिर से शुरू हो जाएंगे। इसी दिन तुलसी-शालग्राम विवाह भी होता है।
माना जाता है कि जो साधक देवउठनी एकादशी के विशेष मौके पर तुलसी माता और भगवान विष्णु के स्वरूप शालिग्राम जी का विवाह करवाता है उसके परिवार में सुख-समृद्धि हमेशा बनी रहती है। सनातन धर्म में तुलसी के पौधे को बहुत ही पवित्र और पूजनीय माना गया है।
देवउठनी एकादशी एवं तुलसी विवाह के शुभ अवसर पर कोटा में हेमलता अशोक शर्मा विपिन शर्मा, प्रियांशी शर्मा परिवार द्वारा अपने निवास मौहारखार से डीजे धूमाल के साथ भगवान शालिग्राम की धूमधाम से बारात निकाली जो शिव हनुमान मंदिर पहुंचकर भगवान की विधि विधान मंत्रोच्चार से पूजा अर्चना की गई उसके पश्चात् स्थानीय अग्रेसन भवन में तुलसी विवाह सम्पन्न हुआ जिसमें शर्मा परिवार के लोग एवं ईस्ट मित्र सभी उपस्थित रहे l
विपिन शर्मा नें बताया की हमारे परिवार द्वारा इस अवसर पर तुलसी विवाह एवं एकदशी कथा का आयोजन किया गया था यह उत्सव भगवान जी की कृपा से बहुत अच्छे से सम्पन्न हुआ कार्यक्रम के पश्चात् ब्राम्हण भोज एवं प्रसाद भंडारा हुआ l